Tuesday, March 24, 2009

टूटा शीशा


कहते है कि टूटे हुए शीशे को नहीं देखा करते है। टूटा शीशा देखेने से किस्तम टूट जाती है या यूं कहे कि किस्मत फूट जाती है। पर उनके किस्मत को क्या कहे जो सड़क किनारे रहते है और हर रोज टूटे शीशे में अपने अस्तिव को देखते और निहारते है। और खुश होकर फिर से अपने रोज के काम में लग जाते है............




रोज कि तरह आज भी हम अपने अपार्टमेंट से ऑफिस के लिए बस पकड़े। बस पकड़ के अट्टा पर उतरे और रोज के तरह चल दिये अपने मंजिल की ओर। हम रोज की तरह ही पैदल...... अपने में मस्त....... कानो में एफएम से गाना सुनते हुए चल रहे थे।पता नहीं कोन सी दुनिया में खोए। तभी अचानक हमारी नज़र सड़क के किनारे लगे उस झोपड़ पर पड़ी।जहां घनी धुप में प्लासटिक को घरनुमां रुप देकर कुछ लोग उसके छांव में अपनी दुनिया में खोये थे। जिस तरह से हम अपनी दुनिया में खोए थे। उनको किसी से कोई भी मतलब नहीं था। बस था तो अपनी दुनिया से मतलब। शायद वो दोपहर के 01.30 बजे नहा के आये थे। उन्हीं में से एक बच्ची पर हमारी नज़र अनायास ही चली गयी। उस बच्ची के हाथ में कुछ चमकती हुई वस्तु थी। जो हमारी नज़र को अपनी ओर खीच रही थी। वो वस्तु शीशा थी........और वो भी टुटा हुआ शीशा.............

उस टूटे हुए शीशे को देख कर एक पल के लिए हम ठहर से गये लगा अरे ये क्या ?

पर दूसरे ही पल उस बात का ध्यान आया....कि टुटे हुए शीशे को नहीं देखना चाहिए।टुटा शीशा देखने से किस्मत टूट या फूट जाती है।

ये बात हर किसी को पता हैं और शायद सब ने ये बात सुनी है।

माना ये बात उस अबोध ना समझ लड़की को नहीं मालूम........ लेकिन क्या ये बात उस बच्ची के मां को भी नहीं पता है। क्या वो मां अपनी बच्ची की किस्मत को नहीं बनना चाहती है ?

क्या वो मां नहीं चाहती कि उसकी बच्ची भी आगे.........आगे जाए........इस जिन्दगी को छोड़ के नयी जिन्दगी में कदम रखे ?

या ये कहे वो सब कुछ जानती है पर चाह के भी कुछ नहीं कर सकती है। क्योंकि वो कहीं ना कहीं इस बात से अवगत है कि हर बच्चा स्लम से उठ के करोड़पतिपति नहीं बन सकता...... UJ
हर बच्चा रुबिना या अज़हर नहीं हो सकता है ........

शायद यहीं होती है हकिकत.........टूटे हुए शीशे को देखने की हकिकत.........

इस घटना ने मेरे आधुनिकता के विचारो को एकदम से झंकझोर दिया। ये एक ऐसी घटना थी जिसने हमें हकीक़त से रुबरु कराया। शायद सब को हकिकत से रुबरु कराया हमारा ये टूटा शीशा।